आज फिर एक हस्ती हमारी जिंदगी से विदा हुई !
जिसने कई सालो तक हमे संजोया वो हमसे जुदा हुई !
फिर से उनका ख्याल हमे अन्दर तक दर्द मै डुबो गई !
घर मै झाई उदासी बार बार उनकी यादे ताज़ा कर गई !
आज फिर से जीवन मै उनके अध्याय का अंत हुआ !
भगवान फिर से इन्सान के स्वागत के लिए तैयार हुआ !
भगवान की इस अदा के तो हम पहले से हैं कायल !
पर इस राज़ से तो हम आज भी अन्जान ही रहे !
इस वक़्त मै उनके करीब न जा सकी फिर भी मगर ,,
हर वक़्त उनकी याद मुझे उनका एहसास करती रही !
मेरी भगवान से सिर्फ आज ये गुजारिश है की ,
जो जगह { मोक्ष } सबसे खुबसूरत है उन्हें नसीब हो जाये !
achha likha hai aapne.
Har insan ki aakhri iksha MOKSH hoti hai
मुझे बहुत ख़ुशी हुई की आपने मेरी बात का समर्थन किया धन्यवाद !