पूर्व संघ चालक कुप सी सुदर्शन की कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी पर की गयी टिप्पणी से कांग्रेस में ऐसा जवार उठ गया मानो किसीने उनपर सीधे आक्रमण ही कर दिया हो। कांग्रेस के भिन्न-भिन्न नेता ऐसे बयान दे रहे है जैसे कोई अंडरवर्ल्ड का माफिया देता है। उनकी धमकियों में से एक ''कानून की धमकी से ऐसा महसूस होता है जैसे की कानून उनके घर की बपौती हो वो चाहे जो भी मनमुताबिक झूट बोले उनका कोई कुछ नहीं कर सकता लेकिन उनके खिलाफ कोई कुछ नहीं कह सकता क्योंकि उनके पास कानून है।
सोचा जाय तो देश के इतने बड़े संयमित और अनुशासित परिवार ''संघÓÓ के पूर्व संघ चालक ऐसे बिना मतलब तो कोई टिप्पणी नहीं कर सकते! निश्चय ही उनकी टिप्पणी में कोइ तथ्य छिपा है और उनके पास अपनी टिप्पणी को सिद्ध करने हेतु प्रमाण उपलब्ध होंगे ही। दूसरा कारण ये हो सकता है कि उन्होने निश्चय ही कांग्रेस को यह एहसास कराने की कोशीष की होगी कि जब खुद के खिलाफ कोई गलत बात बोले तो कैसा मेहसूस होता है।
संघ के खिलाफ ना जाने कांग्रेस कब से झूठे और मनघड़ंत आरोप लगाकर देश के आम नागरिको को बहका रही है, ताकि उसकी राजनैतिक महत्वाकांक्षा पूरी हो सके। अपने मिथ्या आरोपों में कांग्रेस के कुछ नेता संघ कि कट्टरता कि तुलना सिम्मी से करते है पर अभी के दो गर्मागर्म मुद्दो ने यह तथ्य सामने ला दिया कि असल में आतंकवादी संगठन सिम्मी का समकक्ष है कौन? संघ पर लगे झूठे आरोपो के जवाब में ''संघ" की प्रतिक्रिया और ''कांग्रेस" की पूछ में जानबूझकर (टेस्ट के लिए) लगाई गई आग के जवाब में कांग्रेस की प्रतिक्रिया पर यदि गौर किया जाय तो बात स्वत: ही स्पष्ठ हो जाती है। संघ के खिलाफ लगे झूठे आरोपो के खिलाफ संघ ही नहीं अपितु देश की संपूर्ण जनता ने अपने संयमित विरोध प्रदर्शन के द्वारा अपनी बात रखी। जबकि कांग्रेस अपने खिलाफ लगे जरा से आरोप से बिलख पड़ी और सीधे रोड पर आ गई, हिंसात्मक आंदोलन पर उतारू हो गई। उनके वरिष्ठ नेता तो सीधे धमकी देने पर उतारू हो गये। जैसे की हमारे प्रदेश में ही ले लीजिए ''कांग्रेस प्रवक्ता जनार्दन द्विवेदी ने धमकी दी है कि ऐसे बयान से कांग्रेसी बौखला गये तो गंभीर परिणाम होंगे।'' ''महासचिव दिगविजय सिंह ने अपने खुद के चरित्र पर नजर डालने के बजाय संघ के चरित्र को निम्न करार दे दिया। वहीं ''कांग्रेस अध्यक्ष सुरेश पचोरी श्री सुदर्शन जी के मानसिक संतुलन खोने की बात कहते हुए भारतीय संस्कृति और भारतीय परम्परा की दुहाई देते हुए मर्यादित भाषा के प्रयोग की बात करते हुए अपने हिंसावादी नेताओं की हिंसक धमकिया और हिंसाओं को भूल जाते है।'' इस तरह के बयान से आप खुद ही अंदाजा लगा लीजिए की आतंकवादी संगठन कौन है?
मैं तो बस इतना ही टिप्पणी करूंगा की दूसरों की झोपडिय़ों में चिंगारी लगाने वालो की जब लगी पिछवाड़े आग तो बीच सड़क पर भोकन लागे।
सोचा जाय तो देश के इतने बड़े संयमित और अनुशासित परिवार ''संघÓÓ के पूर्व संघ चालक ऐसे बिना मतलब तो कोई टिप्पणी नहीं कर सकते! निश्चय ही उनकी टिप्पणी में कोइ तथ्य छिपा है और उनके पास अपनी टिप्पणी को सिद्ध करने हेतु प्रमाण उपलब्ध होंगे ही। दूसरा कारण ये हो सकता है कि उन्होने निश्चय ही कांग्रेस को यह एहसास कराने की कोशीष की होगी कि जब खुद के खिलाफ कोई गलत बात बोले तो कैसा मेहसूस होता है।
संघ के खिलाफ ना जाने कांग्रेस कब से झूठे और मनघड़ंत आरोप लगाकर देश के आम नागरिको को बहका रही है, ताकि उसकी राजनैतिक महत्वाकांक्षा पूरी हो सके। अपने मिथ्या आरोपों में कांग्रेस के कुछ नेता संघ कि कट्टरता कि तुलना सिम्मी से करते है पर अभी के दो गर्मागर्म मुद्दो ने यह तथ्य सामने ला दिया कि असल में आतंकवादी संगठन सिम्मी का समकक्ष है कौन? संघ पर लगे झूठे आरोपो के जवाब में ''संघ" की प्रतिक्रिया और ''कांग्रेस" की पूछ में जानबूझकर (टेस्ट के लिए) लगाई गई आग के जवाब में कांग्रेस की प्रतिक्रिया पर यदि गौर किया जाय तो बात स्वत: ही स्पष्ठ हो जाती है। संघ के खिलाफ लगे झूठे आरोपो के खिलाफ संघ ही नहीं अपितु देश की संपूर्ण जनता ने अपने संयमित विरोध प्रदर्शन के द्वारा अपनी बात रखी। जबकि कांग्रेस अपने खिलाफ लगे जरा से आरोप से बिलख पड़ी और सीधे रोड पर आ गई, हिंसात्मक आंदोलन पर उतारू हो गई। उनके वरिष्ठ नेता तो सीधे धमकी देने पर उतारू हो गये। जैसे की हमारे प्रदेश में ही ले लीजिए ''कांग्रेस प्रवक्ता जनार्दन द्विवेदी ने धमकी दी है कि ऐसे बयान से कांग्रेसी बौखला गये तो गंभीर परिणाम होंगे।'' ''महासचिव दिगविजय सिंह ने अपने खुद के चरित्र पर नजर डालने के बजाय संघ के चरित्र को निम्न करार दे दिया। वहीं ''कांग्रेस अध्यक्ष सुरेश पचोरी श्री सुदर्शन जी के मानसिक संतुलन खोने की बात कहते हुए भारतीय संस्कृति और भारतीय परम्परा की दुहाई देते हुए मर्यादित भाषा के प्रयोग की बात करते हुए अपने हिंसावादी नेताओं की हिंसक धमकिया और हिंसाओं को भूल जाते है।'' इस तरह के बयान से आप खुद ही अंदाजा लगा लीजिए की आतंकवादी संगठन कौन है?
मैं तो बस इतना ही टिप्पणी करूंगा की दूसरों की झोपडिय़ों में चिंगारी लगाने वालो की जब लगी पिछवाड़े आग तो बीच सड़क पर भोकन लागे।
bahut jordar likha hai. Sudarshan jee ne jo kaha vah bahut pahale Subramanyam Swami kah chuke hain. Tab Congres kahan chip gai thee.
"जब लगी पिछवाड़े आग बीच सड़क पर भोकन लागे"
"जब लगी पिछवाड़े आग बीच सड़क पर भोकन लागे"
इस सुन्दर पोस्ट की चर्चा
आज के चर्चा मंच पर भी है!
http://charchamanch.blogspot.com/2010/11/337.html
बहुत अच्छा लिखा है इनको येसे ही सबक मिलेगा !
longchamp le pliage
pandora charms
ralph lauren pas cher
los angeles lakers
ray ban sunglasses
fitflops sale
pandora outlet
ugg boots
ralph lauren outlet online
cheap uggs