मध्यप्रदेश के वेबसाईट, पोस्टर, बेनर सबसे मोदी गायब |
जिस प्रकार पूरे देश में नरेन्द्र मोदी की लहर दौड़ रही है उसी प्रकार देश के हृदय मध्य प्रदेश में भी भाजपा नेता एवं प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार नरेन्द्र मोदी की लहर है। यहां पार्टी का समर्थक वर्ग तो सदैव भाजपा की महत्वपूर्ण पूंजी रही है। परन्तु जो लोग भाजपा के समर्थक नहीं थे वो भी आज नरेंद्र मोदी के कारण पार्टी को अपने-अपने तरीके से सहयोग कर रहे है।
कुछ ही दिन पहले एक खबर चली थी कि देश में बहुत बड़ा वर्ग ऐसा है जो चाहता है कि नरेन्द्र मोदी को वोट दें, परन्तु वे भाजपा को सहयोग करने को तैयार नहीं थे। ऐसी स्थिति इसलिए उत्पन्न हुई क्यूंकि उन लोगो को यह पता ही नहीं था कि श्री मोदी किस पार्टी से है। इसी स्थिति को सुधारने के लिए पार्टी ने एक नारा चलाया ‘‘नरेन्द्र मोदी कमल निशान’’।
हमारे प्रदेश की जनता तो अच्छे से जानती है कि नरेन्द्र मोदी किस पार्टी के है। परन्तु जिस प्रकार स्थानीय भाजपा नेतृत्व की कार्यपद्धति है और जिस प्रकार का उनका एटिट्यूड है। इससे नरेन्द्र मोदी समर्थकों को यह बारम्बार एहसास होता है कि शायद वे किसी निर्दलीय उम्मीदवार के समर्थक है, या फिर किस दूसरे गृह से एक नेता लेकर आये है और शिव मामा पर थोप रहे है। यह बात समझ से परे है कि प्रदेश नेतृत्व यह बात क्यूं नहीं पचा पा रहा है कि नरेन्द्र मोदी देश के सबसे चहेते जननेता है और भाजपा के प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार है। उन्हे अपनी ही पार्टी में वह स्थान क्यूं नहीं दिया जा रहा है जो स्थान देश की जनता उन्हे देती है।
पिछले दिनांे शिवराज सिंह चौहान ने अपनी जनार्शिवाद यात्रा निकाली जिसमें उन्होने पूरे प्रदेश में अपना विजय रथ लेकर घूमें और अपनी उपलब्धियां गिनाई। परन्तु पूरे प्रदेश में जहां-जहां शिवराज का रथ घूमा एक भी ऐसा स्थान नहीं है जहां उनके मंच पर नरेन्द्र मोदी का कटआउट लगाया गया हो और एक बार भी उनका नाम लिया गया हो। आज अगर प्रदेश की वेबसाईट पर देखे तो भोपाल में जनार्शिवाद के जिस कार्यक्रम में नरेन्द्र मोदी आये थे उस कार्यक्रम की एक भी ऐसी फोटो भाजपा वेबसाइट पर नहीं डाली गई जिसमें नरेंद्र मोदी नजर आते हो। शिवराज के लिए यह सबसे बड़ा मौका था कि वे अपने प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार का परिचय गांव-गांव में करे। इससे लोकसभा के चुनाव तक प्रत्येक ग्रामवासी नमो से परिचित होता और पूरे प्रदेश में एक तरफा चुनाव जीत सकते थे।
टेक्नोलॉजी में सबसे आगे मानी जाने वाली भाजपा की राष्ट्रीय हो या प्रादेशिक एक भी वेबसाईट ऐसी नहीं है जिसमें नरेंद्र मोदी की फोटो को स्थान दिया हो या प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार के तौर पर कहीं जिक्र किया गया हो। क्या पार्टी के पास वेबसाईट अपडेट करने वाले कर्मचारी नहीं है? क्या वेबसाईट अपडेट करने वाले कर्मचारी शिवराज या नरेन्द्र सिंह तोमर की एक नहीं सुनते? मध्य प्रदेश की वेबसाईट पर तो स्वर्गवासी से लेकर राष्ट्रीय से लेकर छुटभईये नेताओं की फोटो भी लगाई गई है सिर्फ देश के सबसे बड़े नेता नमों की फोटो छोड़कर। अगर प्रचार प्रसार से सम्बंधित कोई भी जानकारी या सामग्री हमें मिलेगी नहीं तो 8 महीने में प्रत्येक ग्राम में किस प्रकार पहुंच पायेंगे ये मेरे समझ से परे है।
(http://www.itcellmpbjp.org, http://www.bjp.org)
प्रदेश भाजपा के जितने भी जिला कार्यालय मैंने देखे है किसी भी जिला कार्यालय में नरेंद्र मोदी का कोई फोटो या पोस्टर न तो लगाया गया है और न ही किसी स्थानीय कार्याक्रम में उनके नाम का जिक्र किया जाता है। ऐसे में पार्टी का आम कार्यकर्ता भी असमंजश में है कि मोदी का समर्थन करना है या नहीं।
मोदी समर्थकों को भाजपा से हमेंशा सौतेला व्यवहार मिला है, शायद जननता होने की सजा मोदी जी को दी जा रही है। परन्तु भाजपा नेताओं को यह समझना चाहिए यदि उन्हे 2014 लोकसभा चुनाव जीतना है तो अब एकजुट होना होगा। नरेन्द्र मोदी और उनको सपोर्ट करने वाली जनता के पास कोई जादू की छड़ी नहीं है जो 2014 में घूमा दी जायेगी और जीत घर पर आ जायेगी। आज मोदी समर्थन में युवाओं का खून गर्म है उन्हे दशा और दिशा की जरूरत है बस। जो कि मध्य प्रदेश का नेतृत्व देने में पूर्णतः असफल हुआ है और बात स्वयं सिद्ध है। मोदी समर्थक किस प्रकार और कैसे भाजपा का समर्थन करें और मोदी जी के मिशन 2014 में किसकी मदद से आगे बढ़े यह बहुत ही गंभीर और विचारनीय तथ्य है।
कुछ ही दिन पहले एक खबर चली थी कि देश में बहुत बड़ा वर्ग ऐसा है जो चाहता है कि नरेन्द्र मोदी को वोट दें, परन्तु वे भाजपा को सहयोग करने को तैयार नहीं थे। ऐसी स्थिति इसलिए उत्पन्न हुई क्यूंकि उन लोगो को यह पता ही नहीं था कि श्री मोदी किस पार्टी से है। इसी स्थिति को सुधारने के लिए पार्टी ने एक नारा चलाया ‘‘नरेन्द्र मोदी कमल निशान’’।
हमारे प्रदेश की जनता तो अच्छे से जानती है कि नरेन्द्र मोदी किस पार्टी के है। परन्तु जिस प्रकार स्थानीय भाजपा नेतृत्व की कार्यपद्धति है और जिस प्रकार का उनका एटिट्यूड है। इससे नरेन्द्र मोदी समर्थकों को यह बारम्बार एहसास होता है कि शायद वे किसी निर्दलीय उम्मीदवार के समर्थक है, या फिर किस दूसरे गृह से एक नेता लेकर आये है और शिव मामा पर थोप रहे है। यह बात समझ से परे है कि प्रदेश नेतृत्व यह बात क्यूं नहीं पचा पा रहा है कि नरेन्द्र मोदी देश के सबसे चहेते जननेता है और भाजपा के प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार है। उन्हे अपनी ही पार्टी में वह स्थान क्यूं नहीं दिया जा रहा है जो स्थान देश की जनता उन्हे देती है।
पिछले दिनांे शिवराज सिंह चौहान ने अपनी जनार्शिवाद यात्रा निकाली जिसमें उन्होने पूरे प्रदेश में अपना विजय रथ लेकर घूमें और अपनी उपलब्धियां गिनाई। परन्तु पूरे प्रदेश में जहां-जहां शिवराज का रथ घूमा एक भी ऐसा स्थान नहीं है जहां उनके मंच पर नरेन्द्र मोदी का कटआउट लगाया गया हो और एक बार भी उनका नाम लिया गया हो। आज अगर प्रदेश की वेबसाईट पर देखे तो भोपाल में जनार्शिवाद के जिस कार्यक्रम में नरेन्द्र मोदी आये थे उस कार्यक्रम की एक भी ऐसी फोटो भाजपा वेबसाइट पर नहीं डाली गई जिसमें नरेंद्र मोदी नजर आते हो। शिवराज के लिए यह सबसे बड़ा मौका था कि वे अपने प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार का परिचय गांव-गांव में करे। इससे लोकसभा के चुनाव तक प्रत्येक ग्रामवासी नमो से परिचित होता और पूरे प्रदेश में एक तरफा चुनाव जीत सकते थे।
टेक्नोलॉजी में सबसे आगे मानी जाने वाली भाजपा की राष्ट्रीय हो या प्रादेशिक एक भी वेबसाईट ऐसी नहीं है जिसमें नरेंद्र मोदी की फोटो को स्थान दिया हो या प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार के तौर पर कहीं जिक्र किया गया हो। क्या पार्टी के पास वेबसाईट अपडेट करने वाले कर्मचारी नहीं है? क्या वेबसाईट अपडेट करने वाले कर्मचारी शिवराज या नरेन्द्र सिंह तोमर की एक नहीं सुनते? मध्य प्रदेश की वेबसाईट पर तो स्वर्गवासी से लेकर राष्ट्रीय से लेकर छुटभईये नेताओं की फोटो भी लगाई गई है सिर्फ देश के सबसे बड़े नेता नमों की फोटो छोड़कर। अगर प्रचार प्रसार से सम्बंधित कोई भी जानकारी या सामग्री हमें मिलेगी नहीं तो 8 महीने में प्रत्येक ग्राम में किस प्रकार पहुंच पायेंगे ये मेरे समझ से परे है।
(http://www.itcellmpbjp.org, http://www.bjp.org)
प्रदेश भाजपा के जितने भी जिला कार्यालय मैंने देखे है किसी भी जिला कार्यालय में नरेंद्र मोदी का कोई फोटो या पोस्टर न तो लगाया गया है और न ही किसी स्थानीय कार्याक्रम में उनके नाम का जिक्र किया जाता है। ऐसे में पार्टी का आम कार्यकर्ता भी असमंजश में है कि मोदी का समर्थन करना है या नहीं।
मोदी समर्थकों को भाजपा से हमेंशा सौतेला व्यवहार मिला है, शायद जननता होने की सजा मोदी जी को दी जा रही है। परन्तु भाजपा नेताओं को यह समझना चाहिए यदि उन्हे 2014 लोकसभा चुनाव जीतना है तो अब एकजुट होना होगा। नरेन्द्र मोदी और उनको सपोर्ट करने वाली जनता के पास कोई जादू की छड़ी नहीं है जो 2014 में घूमा दी जायेगी और जीत घर पर आ जायेगी। आज मोदी समर्थन में युवाओं का खून गर्म है उन्हे दशा और दिशा की जरूरत है बस। जो कि मध्य प्रदेश का नेतृत्व देने में पूर्णतः असफल हुआ है और बात स्वयं सिद्ध है। मोदी समर्थक किस प्रकार और कैसे भाजपा का समर्थन करें और मोदी जी के मिशन 2014 में किसकी मदद से आगे बढ़े यह बहुत ही गंभीर और विचारनीय तथ्य है।
दोस्तों मेरे इस आर्टिकल और राष्ट्रीय नेतृत्व को भेजे गए ३ पत्रो ने असर दिखा दिया। अब बीजेपी वेबसाइट की तस्वीर कुछ ऐसी हो गयी है, वेबसाइट कि डिज़ाइन में ही बदलाव कर दिया गया। |
आपकी जानकारी अधूरी है.
पहली बात तो ये है कि भाजपा ने कोई नया नारा नहीं दिया है. पहले भी "अटल बिहारी, कमल निशान" का नारा था, अब मोदीजी प्रधानमन्त्री पद के उम्मीदवार हैं, इसलिए "नरेंद्र मोदी कमल निशान" का नारा है.
आपने लिखा है मोदी जी भोपाल में जनआशीर्वाद यात्रा के कार्यक्रम में आए थे. ये भी गलत जानकारी है. मोदीजी और अन्य नेता भोपाल में पं.दीनदयालजी की जयंती के अवसर पर आयोजित कार्यकर्ता महाकुंभ के लिए आए थे, न कि जनआशीर्वाद यात्रा के लिए. ये भी गलत है कि मप्र भाजपा की वेबसाइट www.itcellmpbjp.org पर इस कार्यक्रम का या मोदी जी का कोई फोटो नहीं है.
कार्यक्रम के लिए बनाए गए मुख्य बैनर में मोदीजी और शिवराजजी के ही फोटो थे और आज भी ये फोटो व इस कार्यक्रम के सभो फोटो http://www.itcellmpbjp.org/karyakartamahakumbh पेज पर उपलब्ध हैं. इसके अलावा इस वेबसाइट से उस कार्यक्रम का लाइव प्रसारण भी दिखाया गया था.
कृपया पूरी जानकारी और सही जानकारी के साथ ही ब्लॉग पोस्ट लिखें. गलत और भ्रामक जानकारी न दें. धन्यवाद!
आदरणीय,
आपके द्वारा अगर पहचान उजागर कि गयी होती तो मैं जरूर आपके सामने तथ्य रखता।।
खैर आपने मेरी चिंतावो पर ध्यान दिया उसके लिए धन्यवाद्।
1. मैंने जो देखा, जो महसूस किया वो मैंने लिखा, अगर उसमे आपको कोई तथ्य गलत लगते हो तो उसके लिए मैं उचित प्लेटफार्म पर तथ्यो के साथ उपस्थित होने को सदैव तैयार हूँ।
2. विरोधियो के साथ तर्क-वितर्क चलता है, लेकिन अपनों को तो संतुष्ट करना होता है। आपके कमेंट में वो कमी साफ़ नजर आयी। आपके कमेंट से मैं चुप तो हो गया, पर संतुष्ट नहीं हुआ।
3. मैंने मोदी समर्थक होने के नाते कुछ कमिया गिनाई है, और मेरे ब्लॉग के आधार पर ही कुछ समाचार चैनलो ने भी अभी एक-दो दिन पहले यही मुद्दा उठाया था।
4. चूँकि आप भाजपा के सुभचिन्तक लगते है, तो आप जानते होंगे कि नमो फेन होने का मतलब ही ये होता है कि बिना तथ्यो के कोई बात नहीं कही जाती..
mitro abhi bhi home page par modi ji ki photo display nhi ho rahi